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At the heart of WLC is the true God and his Son, the true Christ — for we believe eternal life is not just our goal, but our everything.

While WLC continues to uphold the observance of the Seventh-Day Sabbath, which is at the heart of Yahuwah's moral law, the 10 Commandments, we no longer believe that the annual feast days are binding upon believers today. Still, though, we humbly encourage all to set time aside to commemorate the yearly feasts with solemnity and joy, and to learn from Yahuwah's instructions concerning their observance under the Old Covenant. Doing so will surely be a blessing to you and your home, as you study the wonderful types and shadows that point to the exaltation of Messiah Yahushua as the King of Kings, the Lord of Lords, the conquering lion of the tribe of Judah, and the Lamb of Yahuwah that takes away the sins of the world.
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राज्य कहाँ स्थापित होगा?

यह एक गैर-WLC लेख है। बाहरी लेखकों के संसाधनों का उपयोग करते समय, हम केवल उस सामग्री को प्रकाशित करते हैं जो बाइबिल और WLC के वर्तमान बाइबिल विश्वासों के साथ १००% मेल खाते हैं। तो इस तरह के लेखों को सीधे WLC के तरफ से आने जैसे माना जा सकता है। याहुवाह के बहुत से सेवकों की सेवकाई से हमें बहुत आशीष मिली है। लेकिन हम अपने सदस्यों को इन लेखकों द्वारा लिखी गई अन्य लेखों को पढ़ने की सलाह नहीं देते हैं। ऐसे लेखों को हमने अपने प्रकाशनों से बाहर रखा है क्योंकि उनमें त्रुटियां हैं। दुख की बात है कि हमें अभी तक ऐसा संस्था नहीं मिला है जो त्रुटि रहित हो। यदि आप गैर-WLC के प्रकाशित सामग्री [लेख/एपिसोड] से चकित होते हैं, तो नीतिवचन ४:१८ को ध्यान में रखें। उसके सत्य के बारे में हमारी समझ बढ़ रही है, जैसे-जैसे हमारे मार्ग पर अधिक प्रकाश पड़ता है। हम जीवन से भी अधिक सत्य से प्रेम रखते हैं, और जहाँ कहीं भी वह मिलता है, उसकी खोज करते हैं।

राज्य कहाँ स्थापित होगा

शैतान द्वारा मानव जाति पर थोपा गया एक प्रमुख झूठ यह विश्वास है कि मृत्यु के बाद एक व्यक्ति की आत्मा स्वर्ग चली जाती है। बहुत से लोग मानते हैं कि ‘याहुवाह का राज्य’, ‘स्वर्ग’ शब्द का पर्याय है। फिर भी, बाइबल सिखाती है कि जब याहुशुआ मसीह वापस आएंगे, तो याहुवाह का राज्य पृथ्वी पर स्थापित होगा!

बाइबिल सिखाती है की जब याहुशुआ मसीह लौटेंगे, तो याहुवाह का राज्य की स्थापना धरती पर होगी!

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सबसे पहले, ध्यान दें कि कैसे बाइबल मृत्यु के बाद “स्वर्ग जाने” की धारणा का पूरी तरह से खंडन करती है। पिन्तेकुस्त के दिन पतरस भीड़ से कहता है “हे भाइयो, मैं उस कुलपति दाऊद के विषय में तुम से साहस के साथ कह सकता हूं कि वह तो मर गया और गाड़ा भी गया और उस की कब्र आज तक हमारे यहां वर्तमान है। क्योंकि दाऊद तो स्वर्ग पर नहीं चढ़ा;” (प्रेरितों के काम 2:29,34; HHBD) यह आदमी जो “याहुवाह के मन के अनुसार” है, स्वर्ग में नहीं है, परन्तु अभी भी कब्र में है! हमारे उद्धारकर्ता इसकी पुष्टि यहुन्ना 3:13 में करते हैं : “और कोई स्वर्ग पर नहीं चढ़ा, केवल वही जो स्वर्ग से उतरा, अर्थात मनुष्य का पुत्र जो स्वर्ग में है।”

पुराने और नए नियम के मृत संत अपनी कब्रों में सो रहे हैं, पुनरुत्थान की प्रतीक्षा कर रहे हैं – बिना चेतना के (सभा-उपदेशक 9:5; HINCLBSI) आय्यूब पुनरुत्थान की प्रतिक्षा का विवरण कुछ इस तरह से देता है : “यदि मनुष्य मर जाए तो क्या वह फिर जीवित होगा? जब तक मेरा छूटकारा न होता तब तक मैं अपनी कठिन सेवा के सारे दिन आशा लगाए रहता। तू मुझे बुलाता, और मैं बोलता; तुझे अपने हाथ के बनाए हुए काम की अभिलाषा होती।” (अय्यूब 14:14-15; HHBD)

पवात्रशास्त्र में कई वचन में मृत लोगों को “सोते हुए” लोगों के अर्थ में संदर्भित किया गया है, और यह सादृश्य इस तथ्य से आता है कि जब कोई व्यक्ति गहरी नींद में सोता है, तो कई बेहिसाब घंटे बीत सकते हैं। इसी तरह, जिस समय हम मरेंगे, उस दौरान हमारे पास कोई चेतना, कोई जागरूकता नहीं होगी। हमारे मृत्यु के समय और हमारे पुनरुत्थान के बीच कई वर्ष बीत सकते हैं, लेकिन हमें समय बीतने के बारे में पता नहीं चलेगा। यह ऐसा होगा मानो हमने पलकें झपकाईं और फिर से जीवित हो गए। इस प्रकार, चेतना के दृष्टिकोण से, हमें ऐसा प्रतीत होगा कि मृत्यु और पुनरुत्थान के बीच कई वर्षों के बावजूद, भौतिक शरीर से तुरंत आध्यात्मिक शरीर में चले गए हैं।

आदमी नक्शा इस्तेमाल कर रहा

कुरिन्थियों को लिखी गई पहली पत्री 15वीं अध्याय में पौलुस सिखाता है कि पुनरुत्थान तब तक नहीं होता जब तक याहुशुआ मसीह वापस नहीं आता – जिस समय पर “मसीह में मृत” आध्यात्मिक शरीर के साथ पुनर्जीवित हो जाएंगे, और जीवित संत “पलक झपकते एक क्षण में ही” आत्मा में बदल दिया जाएंगे। (वचन 52) यदि संतों को मृत्यु के बाद ही स्वर्ग जाना होता, तो पुनरुत्थान की क्या आवश्यकता होती? वचन 53 में, पौलुस ​​​​कहता है कि “नाशमान देह” को “अविनाशी चोले को धारण कर लेना अनिवार्य है”, (HERV) जिसका अर्थ है कि अब हमारे पास यह नहीं है (रोमियों 2:7 भी देखें)। अब केवल याहुवाह ही अविनाश है (1 तीमुथियुस 6:15-16)

मत्ती 5वीं अध्याय में याहुशुआ कहते हैं की मन के दीन “स्वर्ग के राज्य” प्राप्त करेंगे, जबकि जो नम्र हैं, वे “पृथ्वी के अधिकारी होंगे” (मत्ती 5:3 ; देखिए भजन संहिता 37:11; HHBD) क्या याहुवाह “मन के दीन” संतों को “नम्र” संतों से अलग करके अलग-अलग स्थानों पर भेज देगें? यदि कोई संत नम्र और आत्मा से दीन है, तो क्या उसे स्वर्ग और पृथ्वी विरासत में मिलेंगे? नहीं – यह पहेली तब दूर हो जाती है जब हमें पता चलता है कि मत्ती “स्वर्ग के राज्य” वाक्यांश का उपयोग करता है, जबकि अन्य सुसमाचार लेखक “परमेश्वर (याहुवाह) का राज्य” का उल्लेख करते हैं। “याहुवाह का राज्य” का अर्थ यह नहीं है कि राज्य याहुवाह में स्थित है, बल्कि याहुवाह का है। उसी तरह, “स्वर्ग का राज्य” का अर्थ है कि राज्य का स्वामित्व “स्वर्ग” के पास है, जहां याहुवाह का सिंहासन है। आत्मा में दीन को वही राज्य विरासत में मिलेगा जो नम्र लोगों को मिलेगा – और वह राज्य पृथ्वी पर स्थापित किया जाएगा।

गलातीयों 3:29 यह कहता है कि अगर हम मसीह के हैं, तो हम इब्राहीम के वंश और प्रतिज्ञा चे अनुसार वारिस भी हैं। पुनरुत्थान में इब्राहीम को जो कुछ विरासत में मिलेगा, वह हमें भी विरासत में मिलेगा। उत्पत्ति 13:15 कहता है कि विरासत शाश्वत है, और रोमियों 4:13 बताता है कि वादा पूरे जगत को शामिल करने के लिए विस्तारित है। हालाँकि, “स्वर्ग”, इब्राहीम, इसहाक और याकूब या हम से किए गए वादों का हिस्सा नहीं था।

बाइबिल हमें दिखाता है की याहुवाह का राज्य पृथ्वी पर होगा: और उन्हें हमारे परमेश्वर के लिये एक राज्य और याजक बनाया; और वे पृथ्वी पर राज्य करते हैं। (प्रकाशित वाक्य 5:10 ;HHBD)। प्रकाशितवाक्य 11:15 पर भी ध्यान दें, जो भविष्यवाणी करता है कि मसीह का राज्य इस पृथ्वी के राज्यों पर अधिकार कर लेगा:

सातवें स्‍वर्गदूत ने तुरही बजायी। इस पर स्‍वर्ग में वाणियाँ सुनाई पड़ीं, जो ऊंचे स्‍वर से कह रही थीं :“इस संसार का राज्‍य हमारे प्रभु और उसके मसीह का राज्‍य बनगया है।वह युग-युगों तक राज्‍य करेंगे।” (प्रकाशन 11:15;HINCLBSI)

कई शताब्दियों की मूर्तिपजा परंपरा ने लोगों को आश्वस्त करवाया है कि स्वर्ग उनका “घर” है और मरने पर उनका इनाम है। फिर भी, बाइबिल स्पष्ट है: याहुवाह का राज्य उनके द्वारा बनाई गई पृथ्वी पर स्थापित किया जाएगा, और यह एक चिरस्थायी राज्य होगा।

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प्रकाशितवाक्य की पुस्तक में तीन बार, प्रेरित यूहन्ना ने “पवित्र नगर”, नये यरूशलेम का वर्णन किया है, जो स्वर्ग में होने के बजाय स्वर्ग से नीचे आ रही है (प्रकाशितवाक्य 3:12; 21:2, 10)। नयी यरूशलेम, नई – स्वच्छ और शुद्ध – पृथ्वी पर स्थापित किया जाएगा। याहुवाह स्वयं मनुष्यों के साथ वास करेगा – स्वर्ग में नहीं, परन्तु पृथ्वी पर नये यरूशलेम में:

फिर मैं ने नये आकाश और नयी पृथ्वी को देखा, क्योंकि पहिला आकाश और पहिली पृथ्वी जाती रही थी, और समुद्र भी न रहा। फिर मैं ने पवित्र नगर नये यरूशलेम को स्वर्ग पर से परमेश्वर के पास से उतरते देखा, और वह उस दुल्हिन के समान थी, जो अपने पति के लिये सिंगार किए हो। फिर मैं ने सिंहासन में से किसी को ऊंचे शब्द से यह कहते सुना, कि देख, परमेश्वर का डेरा मनुष्यों के बीच में है; वह उन के साथ डेरा करेगा, और वे उसके लोग होंगे, और परमेश्वर आप उन के साथ रहेगा; और उन का परमेश्वर होगा। और वह उन की आंखोंसे सब आंसू पोंछ डालेगा; और इस के बाद मृत्यु न रहेगी, और न शोक, न विलाप, न पीड़ा रहेगी; पहिली बातें जाती रहीं। . . . . . जो जय पाए, वही इन वस्तुओं का वारिस होगा; और मैं उसका परमेश्वर होऊंगा, और वह मेरा पुत्र होगा। (प्रकाशित वाक्य 21:1-4, 7 HHBD)

कई शताब्दियों की मूर्तिपजा परंपरा ने लोगों को आश्वस्त करवाया है कि स्वर्ग उनका “घर” है और मरने पर उनका इनाम है। फिर भी, बाइबिल स्पष्ट है: याहुवाह का राज्य उनके द्वारा बनाई गई पृथ्वी पर स्थापित किया जाएगा, और यह एक चिरस्थायी राज्य होगा। (पृथ्वी पर राज्य की स्थापना के और अधिक उदाहरणों के लिए, देखें भजन संहिता 2:6-8; 47:1-9; यिर्मयाह 23:5; यहेजकेल 37:21-28; दानिय्येल 2:44-45; 7:17-18, 27; मीका 4:1-5; जकर्याह 9:9-10; 14:9, 16-17; प्रकाशितवाक्य 2:26-27)

रास्ता ढूँढना


यह WLC के द्वारा लिखी हुई आलेख नहीं है। मूल आलेख: https://www.truegospel.org/index.cfm/fuseaction/basics.tour/ID/4/Where-Will-Kingdom-Be-Established.htm

हमने मूल लेख से पिता और पुत्र के सभी मूर्तिपूजक नाम और शीर्षक निकाल दी हैं, साथ ही साथ पवित्रशास्त्र के वचनों में भी, उनके असली नामों को वापस बहाल किए हैं। – WLC टीम।

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